स्मिथा सिंह, नई दिल्ली
20 जुलाई की तारीख को अंतर्राष्ट्रीय शतरंज दिवस के रूपमें मनाया जाता है, इस दिन को मनाने का क्या उद्देश्य है और अंतर्राष्ट्रीय शतरंज दिवस मनाने की शुरुआत कब-किसके द्वारा की गई, ऐसी ही कुछ महत्वपूर्ण बातें आपको इस आर्टिकल के माध्मय से बताते हैं।
चेस यानि शतरंज जो कि एक भारतीय खेल है, जो सबसे प्राचीन बौद्धिक और सांस्कृतिक खेलों में स्थान रखता है, International Chess Day यानि अंतर्राष्ट्रीय शतरंज दिवस हर साल 20 जुलाई की तारीख को मनाया जाता है।
इस दिन को मनाने की शुरुआत
International Chess Day मनाने के लिए 20 जुलाई की तारीख का चुनाव इसलिए किया गया क्योंकि 20 जुलाई 1924 को ही FIDE यानि अंतर्राष्ट्रीय शतरंज संघ की स्थापना की गई थी। 20 जुलाई की तारीख को अंतर्राष्ट्रीय शतरंज दिवस के रूप में मनाने का सुझाव यूनेस्को ने दिया, जिसके बाद साल 1966 से हर साल अंतर्राष्ट्रीय शतरंज संघ के 185 सदस्यों द्वारा दुनिया भर में 20 जुलाई को International Chess Day यानि अंतर्राशष्ट्रीय शतरंज दिवस के रूप में मनाया जाता है। कभी सिर्फ अमीरों का खेल माना जाने वाला शतरंज आज घर घर में खेला जाता है, एक सर्वे के मुताबिक शतरंज दुनिया में सबसे बड़े समुदायों में खेले जाने वाले खेलों में से एक है। दुनियाभर के 70 फीसदी वयस्कों ने कभी न कभी शतरंज जरूर खेला है और विश्वभर में 60 करोड़ से ज्यादा शतरंज के नियमित खिलाड़ी हैं। शतरंज के बढ़ते इस चलन के मद्देनजर ही संयुक्त राष्ट्र महासभा ने भी 12 दिसंबर 2019 को शतरंज दिवस को मान्यता दे दी है।
शतरंज का इतिहास
शतरंज के इतिहास की बात करें तो कहा जाता है कि सबसे पहले शतरंज का आविष्कार रावण की पत्नी मंदोदरी ने किया था, ताकि रावण थोड़ा वक्त अपनी पत्नी के साथ भी बिताए। प्राचीन काल में इसका नाम चतुरंगिनी या चतरांग था। 15वीं शताब्दी में जब इसमें बदलाव हुए तो इसे नाम दिया गया शतरंज और ईरानियों के माध्यम से युरोप पहुंचा तो ये बन गया चेस। वर्तमान में भारत में शतरंज को नई राह देने का श्रेय जाता है शतरंज में पांच बार के वर्ल्ड चैंपियन रहे विश्वनाथन आनंद को, जिन्होंने इस खेल में अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भारत का नाम बुलंद किया
हैऔर इसीलिए उन्हें राजीव गांधी खेल रत्न अवॉर्ड से भी सम्मानित किया गया है।
इस दिन को मनाने का उद्देश्य जहां शतंरज के प्रति लोगों रुचि पैदा करना है तो वहीं अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर सहयोग करने की दिशा में FIDE द्वारा निभाई गई महत्वपूर्ण भूमिका को चिन्हित करने के लिए भी इस दिन को मनाया जाता है, इस दिन विभिन्न स्थानों पर शतरंज की प्रतियोगिताएं रखी जाती हैं, वहीं शीर्ष शतरंज खिलाड़ियों द्वारा भी कार्यक्रमों का आयोजन किया जाता है।