जन अधिकार पार्टी (लोकतांत्रिक) के राष्ट्रीय अध्यक्ष राजेश रंजन उर्फ पप्पू यादव (Pappu Yadav) ने सोमवार को यहां प्रगतिशील लोकतांत्रिक गठबंधन यानी पीडीए (PDA) बनाने की घोषणा की। इस गठबंधन में चंद्रशेखर आजाद की अध्यक्षता वाली आजाद समाज पार्टी (ASP), एमके फैजी के नेतृत्व वाली सोशल डेमोक्रेटिक पार्टी यानी एसटीपीआई (STPI) और बीपीएल मातंग की बहुजन मुक्ति पार्टी (BMP)शामिल हुई है।
बिते कई दिनों से पप्पू यादव तीसरा मोर्चा लाने की बात कर रहे हैं। गठबंधन का ऐलान करते हुए पप्पू यादव ने कहा कि यह मानवतावादी और सब को साथ लेकर चलने वाला गठबंधन होगा। पप्पू यादव ने बताया कि यह गठबंधन बीते 30 साल के महापाप को समाप्त करने के उद्देश्य से बनाया गया है। उन्होंने कहा कि उनकी बात राष्ट्रीय लोक समता पार्टी के अध्यक्ष उपेंद्र कुशवाहा से भी हुई है। उन्होंने गठबंधन का ऐलान करते समय लोजपा और कांग्रेस को भी इस गठबंधन में शामिल होने का न्योता दे डाला।
यह कहते हुए कि आने वाले दो दिनों में इस गठबंधन में और पार्टियां भी शामिल होंगी पप्पू यादव ने आने वाले दिनों में कॉमन मिनिमम प्रोग्राम बनाने की भी घोषणा की। पप्पू यादव लगाताक ही मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर कुव्यवस्था को लेकर प्रहार करते रहे हैं। इस मौके पर भी उन्होंने आरोप लगाया कि नीतीश कुमार ने कोरोना वायरस और लॉकडाउन के दौरान गुजरात और दिल्ली से पलायन करने को मजबूर बिहारियों की मदद नहीं की। उन्होंने नीतीश कुमार पर आरोप लगाया कि वो रघुवंश प्रसाद सिंह की लाश पर राजनीति कर रहे हैं।
अब जब बिहार में 243 विधानसभा सीटों पर चुनाव की गर्मी बढ़ रही है। ऐसे में पप्पू यादव लगातार ही तीसरा मोर्चा लाने की बात करते रहे हैं। पिछले दिनों जन अधिकार पार्टी (JAP- जाप) के मुखिया और एक समय के बाहुबली नेता, पूर्व सांसद राजेश रंजन यानि पप्पू यादव ने खुद की तुलना भगवान से भी की।
बिहार में बाढ़ और कोरोना के दौरान लगातार अपनी छवि सुधारने में लगे पप्पू यादव ने कहा कि नीतीश, लालू और भालू ने मिलकर बिहार के हिंदूओं ओर मुसलमानों के हाथों में पत्थर थमा दिया है। पप्पू यादव ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को जुमलेबाज़ भी कह डाला। और तो और पप्पू ने यह भी कह डाला कि अगर वो दक्षिण भारत में होते तो 20 साल पहले वो भगवान होते।
तो सुनिये अगर लालू यादव, नीतश कुमार और रामविलास पासवान से पहले पैदा होते तो ये तीनों कभी नहीं पैदा होते। वो याद दिलाते हैं कि उनके पास मगध का इतिहास है जो दुनिया बदल सकती है। पप्पू ने यह भी कहा कि पीएम मोदी 71 साल के जुमलेबाज और झूठ के ठेकेदार हैं। अब उनकी उम्र बुजुर्ग मंडली वाली है। मोदी ने कोरोना महामारी में अंबानी और अडानी जैसे जमींदारों को पैदा करने का काम किया है।
युवाओं को उनकी ताकत का अहसास कराते हुए पप्पू यादव यह भी कहते हैं कि सिर्फ युवा ही दुनिया बदल सकते है मगर वो युवा जीना नहीं जानते और नेताओं की भी नियत अच्छी नहीं है।
इस कार्यक्रम के दौरान पप्पू यादव गया जिले में थे। उन्होंने दावा किया कि वो कुछ ही वक्त में सूबे की शक्ल बदल देंगे। उन्होंने यह भी कह दिया कि अगर तीन सालों के अंदर उन्होंने ऐसा नहीं किया तो जनता उन्हें दोहरी चरित्र वाला नेता मानेगी और तीन साल में वो एशिया में बिहार का नाम बदलने की कूवत रखते हैं। अगर ऐसा नहीं होता है तो बिहार की धरती पर वो पैर भी नहीं धरेंगे। रंगदारी और हत्या जैसे संगीन आरोप झेलने वाले पप्पू यादव को जेल की सलाखें भी बखूबी पहचानती हैं। लोकसभा और विधान सभा दोनों का ही प्रतिनिधित्व कर चुके पप्पू यादव को लोकसभा में अच्छा प्रदर्शन करने वाले सांसद के रूप में सम्मानित भी किया गया। 2015 में उन्होंने जन अधिकार पार्टी की स्थापना की थी। पप्पू यादव की पत्नी रंजीता रंजन कांग्रेस की नेता और पूर्व सांसद हैं। पिछले दिनों जब जन अधिकार पार्टी का चुनाव चिह्न चुनाव आयोग ने बदल दिया है जिससे वो बेहद आहत हुए। पहले पार्टी का चुनाव चिह्न हॉकी और बॉल होता था, जो अब कैंची हो गया है। जाप के राष्ट्रीय अध्यक्ष पप्पू यादव लगातार बिहार सरकार पर निशाना साध रहे हैं। पप्पू यादव ने चुनाव आयोग पर आरोप लगाते हुए कहा है कि साजिश के तहत उनका चुनाव चिह्न बदला गया है जो बीजेपी के इशारे पर हुआ है। उनका कहना है कि हॉकी बॉल चुनाव चिन्ह सबके जेहन में था लेकिन अब उनके साथ साज़िश हुई है। वो कहते हैं- मैं कैची से सब की बदजुबान काटूंगा। कैची से ही लोगों की समस्याओं से मुक्ति दिलाऊंगा। आपराधिक तत्वो पर कैंची चलेगी। चुनाव की तारीखों के ऐलान के बाद भी पप्पू यादव दुखी हुए। दरअसल वो चिंतित हैं कि बिहार की जनता रैलियों को देखकर वोट देती है वर्चुयल रैलियों को वो जनता कैसे समझेगी जिनके पास इंटरनेट या लैपटॉप की सुविधा नहीं है। अब पप्पू यादव की यह नई पहल, थर्ड मोर्चा क्या गुल खिलाएगी यह तो चुनाव के परिणाम ही बताएगेंं।