कोविशील्ड टीके की दोनों खुराकों के बीच के अंतर को डॉ एनके अरोड़ा की अध्यक्षता वाली कोविड वर्किंग ग्रुप की सिफारिश के बाद बढ़ा दिया गया है। केंद्र सरकार ने कोविशील्ड वैक्सीन की पहली और दूसरी खुराक के बीच के अंतर को 12 से 16 हफ्ते तक बढ़ाने का फैसला लिया है। गुरुवार को सरकारी समूह एनटीएजीआई की सिफारिश को स्वीकार करते हुए यह तय किया गया है। बता दें कि अब तक कोविशील्ड की दोनों खुराकों के बीच 6 से 8 हफ्ते का अंतर रखना होता था।
भारत सरकार ने यह भी कहा कि कोवैक्सीन खुराक के बीच के अंतर में कोई बदलाव की सिफारिश नहीं की गई है।
कोविड-19 वर्किंग ग्रुप ने कोविशील्ड टीके की दो खुराकों के बीच अंतराल को बढ़ाकर 12 से 16 हफ्ते करने का सुझाव मौजूदा साक्ष्यों, खासकर ब्रिटेन से मिले साक्ष्यों के आधार पर दिया था।
बता दें कि फिलहाल भारत में कोरोनावायरस के खिलाफ चल रहे टीकाकरण अभियान में दो वैक्सीन का इस्तेमाल हो रहा है- सीरम इंस्टीट्यूट की कोविशील्ड और भारत बायोटेक की कोवैक्सीन। सरकारी पैनल द्वारा की गई कोविशील्ड के दो डोज़ के बीच के अंतर को बढ़ाने की सिफारिश को इस दृष्टि से भी देखा जा रहा है कि भारत में कई राज्यों में वैक्सीन की किल्लत है। 1 मई से शुरू हुए तीसरे चरण की के बावजूद भी कई राज्यों में 18 से 44 साल के लोगों में वैक्सीनेशन शुरू नहीं हो पाया है।
सरकार ने रूसी वैक्सीन स्पूतनिक-वी वैक्सीन को भी आपातकालीन इस्तेमाल की मंजूरी दे दी है। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के मुताबिक रूस की वैक्सीन अगले हफ्ते से बाजार में मिलने लगेगी।