आज रविवार है, तारीख 12 सितंबर 2021; भादों मास, शुक्ल पक्ष और षष्ठी तिथि
1- गुजरात के मुख्यमंत्री विजय रुपाणी शनिवार को ऐसे चौथे मुख्यमंत्री बने जिन्होंने अपने पद से इस्तीफा दे दिया। गुजरात के मुख्यमंत्री विजय रुपानी के कल अचानक इस्तीफे ने सियासी गलियारों में हलचल मचा दी। राज्य में होने वाले विधानसभा चुनाव से करीब सवा साल पहले रुपानी का अपने पद को छोड़ना सभी को चौंकाने वाला था, हालांकि अभी रुपानी के इस्तीफे के कारण साफ नहीं हुए हैं, हां… आम आदमी पार्टी और कांग्रेस की युवा इकाई, दोनों ही रुपानी के इस्तीफे को राज्य में भारतीय जनता पार्टी की सत्ता के अंत का संकेत बता रही हैं, राज्य के मुख्यमंत्री बदलने की नीति को, कांग्रेस ने जनता को गुमराह करने वाला कदम बताया है। वहीं दूसरी तरफ भाजपा ने राज्य का नया मुख्यमंत्री चुनने के लिए आज, गांधीनगर में विधायक दल की बैठक बुलाई है, मीटिंग से पहले गृह मंत्री अमित शाह अहमदाबाद पहुंचेंगे। साथ ही पार्टी विधायकों को भी अहमदाबाद पहुंचने के निर्देश दिए गए हैं। गुजरात के नए मुख्यमंत्री की रेस में चार नाम सुनाई दे रहे हैं, जिनमें केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मांडविया, केंद्रीय मत्स्य एवं पशुपालन मंत्री पुरुषोत्तम रुपाला, गुजरात के उप-मुख्यमंत्री नितिन पटेल और गुजरात भाजपा के अध्यक्ष सीआर पाटिल के नाम शामिल हैं, चारों ही नामों में स्वास्थ्यमंत्री मनसुख मांडविया का नाम सबसे ऊपर है।
2- सुप्रीम कोर्ट की सख्ती के बाद आखिरकार केन्द्र ने कोरोना महामारी से हुई मौतों के लिए डेथ सर्टिफिकेट संबंधी गाइडलाइन्स जारी कीं। आईसीएमआर और हेल्थ मिनिस्ट्री द्वारा जारी की गई इन गाइडलाइन्स में कहा गया है कि, कोरोना संक्रमण की पुष्टि होने के बाद अगर अस्पताल से छुट्टी भी हो जाए तो भी टेस्ट के 30 दिनों के अंदर अस्पताल से बाहर मौत होने पर भी उसे कोविड डेथ ही माना जाएगा। इसके अलावा आरटीपीसीआर टेस्ट, एंटीजन टेस्ट या फिर क्लिनिकल तरीके से छानबीन में यदि कोविड का पता चलता है तो कोविड माना जाएगा। वहीं कोविड टेस्ट पॉजिटिव होने पर भी अगर मौत की वजह जहर, आत्महत्या या एक्सिडेंट पाई जाती हैं, तो उसे उसे कोविड से मौत नहीं माना जाएगा । आपको बता दें कि केन्द्र को, कोविड से मौत के मामले में जारी होने वाले सर्टिफिकेट को आसान बनाने के लिए गाइडलाइंस तैयार कर उसकी अमल रिपोर्ट सुप्रीम कोर्ट के सामने 11 सितंबर को पेश करने का निर्देश दिया गया था। साथ ही ये भी आदेश दिया था कि कोविड से मरने वालों के परिजनों को मुआवजा देने के लिए छह हफ्ते के भीतर एनडीएमए यानि नेशनल डिजास्टर मैनेजमेंट अथॉरिटी भी गाइडलाइंस तैयार करे।
3- सितंबर महीने के दूसरे सप्ताह में कल शनिवार को हुई झमाझम बारिश ने दिल्ली में 77 साल का रिकॉर्ड तोड़ा। कल हुई बारिश सितंबर 1944 में हुई दिल्ली की बारिश से आगे निकल गई। मौसम विज्ञान विभाग के मुताबिक दिल्ली में साल 1914 में 360.9 मिमी, 1933 में 341.9 मिमी, 1944 में 417.3 मिमी और 1945 में 359.2 मिमी बारिश दर्ज की गई थी। यानि सितंबर 1914 में हुई बारिश बीते 100 साल की रिकॉर्ड बारिश थी, जो कल की बारिस के बाद टूटा। इस साल यानि 2021 के सितंबर की बात करें तो एक सितंबर को 112.1 मिमी; 2 सितंबर को 117.7 मिमी और 11 सितंबर यानि कल, शनिवार को 94.7 मिमी बारिश हुई, इस तरह इस साल सितंबर में शनिवार शाम तक 383.4 मिमी बारिश हो चुकी है जो कि बीते एक दशक में इस महीने में सबसे ज्यादा है। जमकर बरसे बादलों ने कल दिल्ली एनसीआर के लोगों का जीना मुहाल किया, सड़कें, रनवे, अंडर पास, सब पानी में डूबे नजर आए। स्काईनेट वेदर का कहना है कि दिल्ली में सितंबर में हुई इस रिकॉर्ड बारिश की दो वजह हैं, मॉनसून की देरी से वापसी और उसके निम्न दबाव प्रणाली का जल्दी बनना। काईमेट ने कल तक, हल्की बारिश का भी अनुमान जताया है।
4- मेडिकल स्टडीज के लिए होने वाले एंट्रेंस एग्जाम, नेशनल एलिजिबिलिटी कम एन्ट्रेंस टेस्ट यानी NEET परीक्षा से एक दिन पहले, कल शनिवार को ही इस परीक्षा का पेपर लीक होने के दावे किए जा रहे हैं। सोशल मीडिया साइट ट्विटर पर ऐसे दावे किए जा रहे हैं कि NEET एग्जाम का क्वेश्चन पेपर लीक हो गया है, हालांकि लीक हुआ कोई Question paper सामने नहीं आया, लेकिन एक न्यूज चैनल पर दिखाए गए एक स्टिंग ऑपरेशन के बाद कई ट्विटर यूजर्स ने पेपर लीक होने का दावा किया और यहां तक कहा कि उन्हें लाखों रुपये देकर नीट एग्जाम का पेपर ऑफर किया जा रहा है ऐसे ट्वीट्स के बाद शनिवार को ट्विटर पर नीट पेपर लीक ट्रेंड करने लगा। इन खबरों के बाद SUI और AISF जैसे छात्र संगठनों ने कथित पेपर लीक को बेहद गंभीर बताते हुए इस मामले की उच्च स्तरीय जांच की मांग की है। जबकि अधिकारियों ने ट्विटर पर फैली इस खबर को फेक न्यूज बताया है और पेपर लीक होने की बात से इनकार किया है। बता दें कि आज देशभर में NEET की परीक्षा हो रही है।
5- सेफ सिटी इंडेक्स में देश के सबसे सुरक्षित शहरों में दूसरे नंबर पर गिनी जाने वाली मुंबई के साकीनाका इलाके में एक 30 साल की महिला के साथ रेप की घटना और दरिंदगी के 33 घंटे बाद रेप पीडिता की मौत, इस खबर ने हर किसी को झझोर दिया है। रेप पीड़िता नौ सितंबर को साकीनाका क्षेत्र के ख़ैरानी रोड इलाक़े में बेहोशी की हालत में मिली थीं, एक ऑटो में महिला का रेप करने के बाद आरोपी ने महिला के प्राइवेट पार्ट्स पर रॉड से हमला किया, जिससे महिला के इंटरनल पार्ट्स में इंजरी हुई। 33 घंटे तक अस्पताल में जिन्दगी और मौत के बीच झूलती निर्भया ने शनिवार को दम तोड़ दिया। इस घटना का सीसीटीवी फुटेज सामने आया जिसके बाद पुलिस ने आरोपी को गिरफ्तार भी कर लिया, और पीड़िता की इलाज के दौरान मौत के बाद आरोपी पर लगी धारा 307 को 302 में बदल दिया है। इस घटना पर महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने कहा कि निर्भया कांड को याद दिलाने वाली इस तरह की घटना, मानवता पर कालिख पोतने वाली है, ऐसे आरोपी का केस फास्ट ट्रैक कोर्ट में चलाकर फांसी की सजा देने की मांग करेंगे, इधर रेप की घटनाएं बहुत बढ़ी हैं, चीफ जस्टिस से मांग करके इस तरह की घटनाओं का फास्ट ट्रैक कोर्ट से जल्दी निपटारा करवाने की जरूरत है।