1- आज 21 जून को अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस के मौके पर आयोजिक हुए कार्यक्रम में सुबह 6.30 बजे प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने देश को संबोधित किया। अपने संबोधन में पीएम ने देश को योग से सहयोग तक का मंत्र दिया। पीएम ने कहा कि कोरोना जैसी महामारी से लड़ने में विश्व को योग से उम्मीद की किरण मिली है। योग हमारे लिए सुरक्षाकवच का काम कर रहा है। कोरोना काल में लोगों का योग के प्रति उत्साह और बढ़ा है। पीएम ने संबोधन में फ्रंटलाइन वर्कर्स का उदाहरण देते हुए कहा कि, जब मैं फ्रंट लाइन वर्कर से बात करता हूं, तो वे बताते हैं कि उन्होंने कोरोना से लड़ाई में उन्होंने योग को भी शामिल किया। अस्पतालों से भी तस्वीरें आती हैं, जहां मरीज योग कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि योग पर साइंटिफिक रिसर्च की जा रही है। योग से हमारी इम्युनिटी पर पड़ने वाले सकारात्मक प्रभाव पर भी रिसर्च की जा रही है। साथ ही ऑनलाइन क्लासेज में पढ़ाई शुरु करने से पहले टीचर्स द्वारा कराए जाने वाले योग का भी उन्होंने संबोधन में जिक्र किया। योग की ताकत बताते हुए पीएम ने कहा कि योग हमें स्ट्रेस से स्ट्रेंथ और नेगेटिविटी से क्रिएटिविटी का रास्ता दिखाता है। योग हमें अवसाद से उमंग और प्रमाद से प्रसाद तक ले जाता है। पीएम मोदी ने M-Yoga ऐप के बारे में बताते हुए कहा कि भारत अब विश्व स्वास्थ्य संगठन के साथ मिलकर M-Yoga ऐप की शुरुआत करने जा रहा है। इस मोबाइल ऐप में योग के अलग-अलग आसन और अन्य जानकारियां मिल पाएंगी, जो अलग-अलग भाषाओं में उपलब्ध रहेंगी।
2- आज से देशभर में 18 साल से ज्यादा उम्र के सभी लोगों का फ्री वैक्सीनेशन किया जाएगा। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने 7 जून को 18+ वालों के लिए देशभर में 21 जून से मुफ्त टीकाकरण की घोषणा की थी। आज से शुरु हो रहे मुफ्त वैक्सीनेशन प्रोग्राम के लिए सरकार नई गाइडलाइन्स भी जारी कर चुकी है, जिनके मुताबिक सभी सरकारी वैक्सीनेशन सेंटर्स पर वैक्सीन मुफ्त लगाई जाएगी जबकि प्राइवेट हॉस्पिटलस में वैक्सीनेशन के लिए कीमत देनी होगी, जिसमें वैक्सीन की तय कीमत और 150 रुपये सर्विस चार्ज देना होगा। केन्द्र सराकर सीधे कंपनियों से 75 प्रतिशत वैक्सीन खरीदकर राज्यों को मुहैया कराएगी, वहीं 25 फीसदी वैक्सीन गैर सरकारी अस्पताल खुद कंपनियों से खरीद सकेंगे। वैक्सीन लगवाने के लिए जरूरी नहीं कि पहले पोर्टल पर रजिस्ट्रेशन कराएं, आप वैक्सीनेशन सेंटर पहुंचकर भी ऑन द स्पॉट रजिस्ट्रेशन कराकर टीकाकरण करवा सकेंगे। नई गाइडलाइन्स में सरकार ने अपील की है कि लोक कल्याण की भावना को बढ़ावा देने के लिए आर्थिक तौर पर सक्षम लोगों को प्राइवेट हॉस्पिटल में पैसे देकर वैक्सीन लगवानी चाहिए।
3- प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी 24 जून को जम्मू – कश्मीर को लेकर अपने आवास एक सर्वदलीय बैठक करने वाले हैं, जिसके लिए कांग्रेस, पीडीपी, एनसी समेत राजनीतिक दल के नेताओं को आमंत्रण भेजा गया है, जब से इस मीटिंग की खबर हुई है जम्मू-कश्मीर में सियासी हलचलें भी बढ़ गई हैं और राजनीतिक पार्टियों के बीच तरह-तरह की मांगें उठने लगी हैं। जैसे, कांग्रेस पार्टी की तरफ से जम्मू कश्मीर को पूर्ण राज्य का दर्जा फिर देने की बात कही जा रही है। कांग्रेस के राष्ट्रीय प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने कहा कि हम चाहते हैं कि जम्मू-कश्मीर को जल्द पूर्ण राज्य का दर्जा मिले, अगर ऐसा नहीं किया जाता है तो ये सीधे तौर पर लोकतंत्र पर हमला है। वहीं ऐसी भी खबरें हैं कि महबूबा मुफ्ती इस मीटिंग में शामिल न होने का मन बना चुकी हैं। गुपकार गठबंधन और नेशनल कॉन्फ्रेंस ने भी मीटिंग में शामिल होने को लेकर अपना रुख साफ नहीं किया है।
4- यूपी बोर्ड यानि उत्तर प्रदेश माध्यमिक शिक्षा परिषद के हाईस्कूल व इंटीमीडिएट छात्रों के लिए प्रमोशन फॉर्मूला को योगी सरकार की तरफ से हरी झंड़ी मिल गई है, जिसके बाद अब जल्द ही 10वीं और 12वीं के 56 लाख से ज्यादा छात्रों का रिजल्ट जारी होगा। प्रमोशन फॉर्मूला को लेकर उपमुख्यमंत्री और प्रदेश के माध्यमिक व उच्च शिक्षा मंत्री डॉ. दिनेश शर्मा ने बताया कि कुल 29 कैटेगरी का फॉर्मूला तय किया गया है, जिसके मुताबिक अब रिजल्ट तैयार होंगे। हाईस्कूल के स्टूडेन्ट्स को प्रमोट करने के लिए 9वीं कक्षा के 50 फीसदी मार्क्स औऱ 10वीं कक्षा के प्रीबोर्ड एग्जाम के 50 फीसदी मार्क्स के आधार पर रिजल्ट तैयार होंगे, इसी तरह 12वीं के स्टूडेन्ट्स के लिए 10वीं के 50 फीसदी मार्क्स, 11वीं के 40 फीसदी मार्क्स और 12वीं के प्रीबोर्ड एग्जाम के 10 फीसदी मार्क्स के बेस पर रिजल्ट बनाया जाएगा। जो छात्र –छात्राएं इस रिजल्ट से संतुष्ट नहीं होंगे उनके लिए बाद में परीक्षा देने का विकल्प भी रखा गया है।
5- घटते कोरोना मामलों के बीच अब अनलॉक की प्रक्रिया भी शुरु हो गई है, लेकिन स्कूल-कॉलेज व शिक्षण संस्थान फिलहाल बंद हैं, लेकिन ऐसे कयास लगाए जा रहे हैं कि जुलाई में इन्हें खोलने की परमिशन दी जा सकती है, क्योंकि राज्यों से इस विषय पर राय ली जा रही है साथ ही शैक्षणिक संस्थानों से जुड़े शिक्षकों और दूसरे कर्मचारियों के वैक्सीनेशन पर जोर दिया गया है। ऐसी संभावना है कि जुलाई में कोरोना संक्रमण की स्थिति की समीक्षा के बाद शैक्षणिक संस्थानों को दाखिले और
परीक्षा आदि के लिए खोलने की इजाजत मिल सकती है, हालांकि संक्रमण की तीसरी लहर के अंदेशा को देखते हुए स्टूडेंट्स के लिए स्कूल-कॉलेज खोलने को लेकर फिलहाल कोई फैसला नहीं लिया जाएगा, हां एडमिशन और पेंडिंग एग्जाम्स के लिए इन्हें खोला जा सकता है।